दिक्कत / ऑनलाइन क्लासेज में अब बाधक बन रहा फोन, पेरेंट्स बोले-बच्चों को कैसे दें

PMG News Chandigarh

पढ़ाई कैसे हो इसको लेकर एजुकेशन डिपार्टमेंट और स्कूलों की होगी मीटिंग

चंडीगढ़: बच्चाें काे माेबाइल फाेन से दूर रखा जाए, फाेन का इस्तेमाल करते हुए बच्चाें पर निगाह रखें, माेबाइल फाेन यूज की आदत बच्चाें में न डालें। अक्सर इस तरह की बातें टीचर्स पेरेंट्स ओरिऐंटेशन प्राेग्राम में या फिर पेरेंट्स टीर्चस मीटिंग में पेरेंट्स काे कहते हैं। लेकिन अब तक काेराेना वायरस लाॅकडाउन चल रहा है और स्कूल बंद हैं सभी स्टूडेंट्स घर पर हैं तब बच्चाें के लिए स्मार्ट फाेन जरूरी कर दिया गया है। क्याेंकि ऑनलाइन स्टडी चल रही है। ऑनलाइन क्लासेज वर्किंग पेरेंटस की परेशानी बन गई है।

पर्सनल फाेन के बिना कैसे हाे ऑनलाइन क्लासेज

पेरेंट ज्याेति का कहना हे कि मैं प्राइवेट सेक्टर में वर्किंग हूं, पहले ताे वर्क फार्म हाेम चल रहा था, ऑनलाइन क्लासेज मैनेज हाे रही थी लेकिन अब जब लाॅकडाउन खुल गया हे ताे मेरे बेटे के लिए ऑनलाइन क्लास के लिए मुझे या ताे उसे नया स्मार्ट फाेन और इंटरनेट कनेक्शन लेकर देना हाेगा या फिर मुझे अपने लिए नया फाेन लेना पड़ेगा। मैं ऑफिस में हूं अगर बेटे काे एक बार स्मार्ट फाेन दे दिया ताे उसकाे आदत हाे जाएगी, फाेन यूज की और उसका ये पर्सनल फाेन बन जाएगा।

स्कूलों के साथ मीटिंग में साल्व की जाएगी दिक्क्त

डीईओ अलका मेहता का कहना है कि पेरेंटस की प्राब्लम काे समझते हुए एजुकेशन डिपार्टमेंट जल्द ही प्राइवेट स्कूलाें के साथ मीटिंग करेगा। उनके सामने पेरेंटस की वीकली वन डे क्लास का प्रावधान करने की बात भी रखी जाएगी। मेहता का कहना है कि पेरेंटस की टेंशन सही है, उनकी गैरमाैजूदगी में फाेन का मिसयूज बच्चे कर सकते हैं। इस पर तुंरत विचार के लिए डिपार्टमेंट मीटिंग करेगा। उस मीटिंग में इस समस्या का समाधान भी निकाला जाएगा। बच्चों को किसी प्रकार की दिक्कत न हो इसका पूरा ध्यान रखा जाएगा। इस समय बच्चों की पढ़ाई को ध्यान में रखना भी जरूरी है। जाे भी है इसका कुछ न कुछ हल मीटिंग में निकाला जाएगा।

टीनएजर में फोन एक समस्या

पेरेंट रीधिमा का कहना है मेरी बेटी सातवीं क्लास में हैं, हम दाेनाें वर्किंग है ऐसे में पीछे से बच्चे काे ऑनलाइन क्लासेज के लिए फाेन देकर जाना मुश्किल ताे है ही दूसरा टेंशन इस बात की है कि बच्चा हमारी गेरमाैजूदगी में स्मार्ट फाैन कितनी देर यूज कर रहा है, कहीं ये कुछ दिन की ऑनलाइन क्लासेज से हमारे लिए प्राब्लम न क्रिएट हाे जाए, क्याेंकि बच्चा टीनएजर है।

वीकली वन-डे क्लास हो

पेरेंट संजीव शर्मा का कहना है कि मेरा बेटा फाेर्थ क्लास में है राेजाना तीन से चार घंटे की ऑनलाइन स्टडी हाे रही है। इसकाे मैनेज करना मुश्किल हाे जाएगा। न ताे फाेन घर छाेड़कर जा सकते हैं और न ही बच्चे काे नया फाेन लेकर दे सकते हैं। इससे अच्छा ताे टीचर्स काे चाहिए कि वाे वीकली वन-डे ऑनलाइन क्लास लें वाे भी जिस दिन पेरेंट्स की छुट्‌टी यानि कि संडे काे। उसके बाद बच्चाें काे हाेमवर्क दे दें ।