PMG News Chandigarh
हरियाणा में वर्ष 2019 के दौरान ‘नाॅ योर केस‘ योजना के तहत 2 लाख 25 हजार से अधिक नागरिकों ने संबंधित पुलिस थानों में जाकर अपनी शिकायतों एवं मामलों की जांच पड़ताल की प्रगति बारे जानकारी हासिल की। इनमें 1 लाख 27 हजार से अधिक लोगों ने शिकायतों की प्रगति के बारे में पूछताछ की जबकि 97,592 लोगों ने आपराधिक मामलों बारे जानकारी प्राप्त करने के लिए पुलिस थानों का दौरा किया।
अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक, कानून एवं व्यवस्था, श्री नवदीप सिंह विर्क ने आज यहां यह जानकारी देते हुए बताया कि जिला पलवल में सर्वाधिक 32,237 नागरिकों ने सीधे जांच अधिकारियों या वरिष्ठ अधिकारियों से मिलकर शिकायतों और आपराधिक मामलों की प्रगति बारे जानकारी ली। इसी प्रकार, गुरुग्राम और फरीदाबाद जिलों में योजना के तहत जानकारी प्राप्त करने वालों का आंकडा क्रमशः 29,073 और 22,673 रहा।
श्री विर्क ने साल 2019 में जानकारी लेने वालों का महीनेवार आंकड़ा साझा करते हुए बताया कि जनवरी माह में 18,887 लोगों ने विभिन्न पुलिस स्टेशनों का दौरा कर शिकायतों व आपराधिक मामलों की प्रगति बारे पूछताछ की। इसी प्रकार, फरवरी में 18,036, मार्च में 19,396, अप्रैल में 18,350, मई में 16,134, जून में 18,746, जुलाई में 19,462, अगस्त में 19,945, सितंबर में 20,140, अक्तूबर में 17,324, नवंबर में 19,116 तथा दिसंबर माह में 19,495 व्यक्तियों ने केस व षिकायत की प्रगति बारे जानकारी हासिल की। उन्होंने कहा कि योजना के तहत जानकारी लेने वालों की बढती संख्या पुलिस द्वारा पारदर्शी और सार्वजनिक उन्मुख पुलिसिंग की दिशा में उठाए गए प्रयासों को दर्शाती है। उन्होंने कहा कि इस महत्वपूर्ण योजना से विभिन्न मामलों और शिकायतों के समयबद्ध निपटान के साथ-साथ पुलिस-पब्लिक संपर्क को बढ़ाने में भी मदद मिलती है।
यह उल्लेखनीय है कि हरियाणा पुलिस द्वारा पुलिस कार्यप्रणाली में और अधिक पारदर्शिता और जवाबदेही सुनिश्चित करने के उद्देश्य से ‘नाॅ योर केस’ योजना की शुरूआत की गई थी। इस योजना के तहत, नियुक्त किए गए राजपत्रित अधिकारी, एसएचओ, जांच अधिकारी और युनिट प्रभारी शिकायतकर्ताओं को मामले / शिकायत की नवीनतम स्थिति से अवगत कराने के लिए संबंधित थानों या इकाईयों में मौजूद होते हैं। हर महीने के अंतिम शनिवार और रविवार को ‘नाॅ योर केस’ दिवस के रूप में तय किया गया है। योजना का क्रियान्वयन संबंधित पुलिस उपाधीक्षक की उपस्थिति में किया जा रहा है तथा वरिष्ठ अधिकरियों द्वारा प्रगति बारे मासिक समीक्षा भी की जा रही है।
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